ज़रा ठहरो , सबको लूट रहीं हैं मोबाइल कंपनियां- ब्लाग चौपाल- राजकुमार ग्वालानी
>> Thursday, September 9, 2010
सभी को नमस्कार करता है आपका राज
कल रात से कुछ ज्यादा ही तबीयत खराब हो गयी है। आज काफी देर से उठे, सोचा आज की चौपाल पर विराम लगा देते हैं, फिर मन नहीं माना तो बैठे गए चौपाल संजाने, जल्दी है, काम पर भी जाना है, ज्यादा समय खराब न करते हुए देखें कौन क्या कहता है...
सुधीनामा में-* ज़रा ठहरो *
ज़रा ठहरो ! तुम इनको न छूना, ये एक बेहद पाकीजा से रिश्ते के टूट कर बिखर जाने से पैदा हुई किरचें हैं, जिन्हें छूते ही धारा प्रवाह खून बहने लगता है , डरती हूँ तुम्हारी छू लेने से कहीं इनकी धार कुंद ना हो ज...
ज़रा ठहरो ! तुम इनको न छूना, ये एक बेहद पाकीजा से रिश्ते के टूट कर बिखर जाने से पैदा हुई किरचें हैं, जिन्हें छूते ही धारा प्रवाह खून बहने लगता है , डरती हूँ तुम्हारी छू लेने से कहीं इनकी धार कुंद ना हो ज...
अपने देश में जितनी भी मोबाइल कंपनियां काम कर रही हैं कोई भी कंपनी यह दावा नहीं कर सकती है कि वह ईमानदार है। चाहे वह बीएसएनएल ही क्यों न हो। हर कंपनी का एक सूत्रीय काम है उपभोक्ताओं को लूटने का। उपभोक्ता ब...
ईद मुबारक आज ईद है ,चाँद नहीं दिखा इसलिए ईद का पर्व ११ सितम्बर को मनाने का ऐलान किया गया है, ईद के अवसर पर गूगल से चाँद की बहुत ही प्यारी एवं मनमोहक तस्वीर प्राप्त हुई है,आइये इस तस्वीर से चाँद का दीदार...
पिछले कुछ दिनों से मेरे घर के बागवानी के लिए सुरक्षित रखे गए स्थान में एक सूखी लकड़ी पर एक चिडि़या लगातार चोंच मार रही थी, मेरा पुत्र उसको उत्सुकता से देखता था और उत्सुकता के कारण मुझसे उसके संबंध में ...
भाद्रपद मास की शुक्ल पक्ष की चतुर्थी से शुरू १० दिवसीय ज्ञान, बुद्धि और समृद्धि के प्रथम पूज्य देव गणेश जी के जन्मोत्सव का बड़ों को ही नहीं वरन बच्चों को भी कुछ ज्यादा ही बेसब्री से इंतज़ार रहता है. बच्चों ...
संगीता पुरी कहती हैं- 11 सितंबर के शुक्र चंद्र युति के दर्शन किया जाए या नहीं ??
11 अगस्त को पोस्ट किए गए अपने आलेख में मैने चर्चा की थी कि सिर्फ 13 अगस्त को ही नहीं , आने वाले दिनों में लगभग पांच महीनों तक यानि 11 सितंबर , 9 अक्तूबर , 2 दिसंबर , 31 दिसंबर और 29 जनवरी को भी आसमान म...
11 अगस्त को पोस्ट किए गए अपने आलेख में मैने चर्चा की थी कि सिर्फ 13 अगस्त को ही नहीं , आने वाले दिनों में लगभग पांच महीनों तक यानि 11 सितंबर , 9 अक्तूबर , 2 दिसंबर , 31 दिसंबर और 29 जनवरी को भी आसमान म...
उनकी इमेज आप नीचे देख लीजिए जो ट्विटर पर हिंदी में पूछे गए थे जिनके पास इस प्रसारण के हों लिंक वे टिप्पणी में भेजने का कष्ट करें। जिन्होंने सुना है इस जीवंत प्रसारण को वे बतलायें कि कौन से सवाल किए गए...
आदरणीय अग्रज श्री राजेन्द्र स्वर्णकार जी द्वारा मेरी इस रचना को ग़ज़ल का स्वरुप दिया गया है.. उनका बहुत आभारी हूँ.. बड़ी मुश्किल से हाथ आए , तुम्हें हम जाने कैसे दें अभी पैदा हुई ख़्वाहिश , अभी मर जाने क...
भाषा जो सम्पर्क की हिन्दी उसमे मूल। राष्ट्र की भाषा न बनी यह दिल्ली की भूल।। राज काज के काम हित हिन्दी है स्वीकार। लेकिन विद्यालय सभी हिन्दी के बीमार।। भाषा तो सब है भली सीख बढ़ायें ज्ञान। हिन्दी बहुमत के ...
दिल्ली की चुभती गर्मियों की धूप तमाचे मार के रोज उठाती थी उसे. गर्मियों के ठहरी दोपहरों को उसकी उफनती क्रन्तिकारी सोच और आग लगा देती थी. यूँही थोड़े लोग कहते थे कि उसका दिमाग गरम रहता है हमेशा. लोग तो ये भी ...
जो दीन ईमान से ऊपर उठ जाये जो जिस्म के तूफ़ान से ऊपर उठ जाए दीवानगी पागलपन जैसे शब्दों की महत्ता ख़त्म हो जाए हर चाहत हर अहसास के स्रोत लुप्त होने लगें जहाँ विरह श्रृंगार भी गौण हो जायें जब सारे...
दिल्ली में होने वाले राष्ट्रमंडल खेलों की तैयारियों में भले ही कितने उतार-चढाव आ रहे हों, काम के डेडलाइन पर डेडलाइन खत्म हो रहे हैं लेकिन काम नहीं खत्म हो रहे हैं। ऐस..
साकार बनो ओ निराकार ! कर प्राण देह से अलग भला क्या मानव मानव रह सकता, पूजा के बिना पुजारिन का अस्तित्व न कोई रह सकता ! अंतर की भाव तरंगों का होता है मुख पर आवर्तन, मानस का हर्ष शोक आकर करता नयनों में परि...
इन दिनों पूरे देश में अजीब सा माहौल है। सांसद-विधायक अपना वेतन और सुविधा बढ़ाने में लगे हैं। भ्रष्ट होते नौकरशाह से आम आदमी त्रस्त है और सरकार उद्योगपतियों की जेब मे है उद्योगो के लिए जमीनें दी जा रही है अपन...
कल फिर मिलेंगे
5 comments:
उम्दा चौपाल ..
बहुत सारे लिंक मिले .. आपका आभार !!
आज भी काफ़ी बढिया चौपाल सजाई है।
बहुत सुन्दर चौपाल सजाई है राजकुमार जी ! 'ज़रा ठहरो' और 'साकार बनो ओ निराकार' को इस खूबसूरत चौपाल में स्थान देने के लिए आपकी आभारी हूँ ! सभी रचनाएं बहुत शानदार हैं ! बधाई एवँ आभार !
शीघ्र पूर्णस्वास्थ्यलाभ की कामना सहित आभार.
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